स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया ने एम्स, ऋषिकेश का दौरा किया


लम्बा सफर, ऋषिकेश । केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया ने चमोली जिले के सीमावर्ती गांव मलारी से वापसी के दौरान शुक्रवार रात एम्स, ऋषिकेश का दौरा किया, जहां उन्होंने ‘वाइब्रेंट विपेज’ कार्यक्रम के तहत शुरू की गई परियोजनाओं की प्रगति का जायजा लिया। अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) के अधिकारियों ने कहा कि मांडविया ने छात्रावास के ‘डाइनिंग हॉल’ में लगभग 20 मिनट बिताए और मेडिकल छात्रों से उनकी पढ़ाई के साथ-साथ भोजन की गुणवत्ता के बारे में बात की।
उन्होंने कहा कि केंद्रीय मंत्री ने एम्स के चिकित्सा अधीक्षक संजीव मित्तल को छात्रों को चिकित्सा शिक्षा देने के अलावा देश की कला एवं संस्कृति के बारे में शिक्षित करने का भी निर्देश दिया। उत्तराखंड के स्वास्थ्य मंत्री धन सिंह रावत के साथ मांडविया शुक्रवार रात करीब 10 बजे सड़क मार्ग से एम्स, ऋषिकेश के गेस्ट हाउस पहुंचे क्योंकि खराब मौसम के कारण उनका हेलीकॉप्टर उड़ान नहीं भर सका। इसके बाद केंद्रीय मंत्री चिकित्सा अधीक्षक मित्तल के साथ रात लगभग साढ़े दस बजे एम्स परिसर के निरीक्षण के लिए रवाना हो गए।
अधिकारियों ने कहा कि एम्स छात्रावास के अलावा मंत्री ने ट्रॉमा सेंटर और आपातकालीन वार्ड का भी गहन निरीक्षण किया। मांडविया ने गलियारे में सो रहे मरीजों के तीमारदारों के बारे में भी पूछताछ की। मित्तल ने बताया कि उनके पास अस्पताल के गलियारे में लेटने के अलावा और कोई विकल्प नहीं है क्योंकि नजदीक स्थित बाबा काली कमली की धर्मशाला खचाखच भरी हुई थी। मित्तल ने कहा कि एम्स मरीजों से भरा हुआ है।
उन्होंने कहा कि सरकार ने आईडीपीएल परिसर में एम्स को 200 एकड़ अतिरिक्त जमीन देने की सहमति दे दी है। हालांकि जब तक वहां अस्पताल नहीं बन जाता, तब तक एम्स ऋषिकेश पर मरीजों का दबाव बना रहेगा। अधिकारियों ने कहा कि इस पर मांडविया ने उत्तराखंड के स्वास्थ्य मंत्री रावत को 200 एकड़ जमीन एम्स, ऋषिकेश को हस्तांतरित करने के पत्र के साथ दिल्ली आने को कहा।

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